

इस भव्य महापर्व को यादगार बनाने के लिए राज्य सरकार ने तो कई पहल की हैं.इस बीच यूपी के चित्रकूट जिला जेल के बंदी भी इस महाकुंभ में अपना योगदान देने के लिए तैयार हैं.हालांकि वे महाकुंभ में संगम में जाकर डुबकी तो नहीं लगा सकते, लेकिन अपनी कला और हुनर से वे महाकुंभ में शामिल हो रहे हैं.बता दे कि चित्रकूट जिला जेल में बंद बंदी के द्वारा टी शर्ट और कुर्ता में संस्कृत के श्लोक और हिंदी की कविताएं लिखी जा रही है. बंदियों के निर्मित यह उत्पाद महाकुंभ मेले में लगने वाले स्टाल की शोभा बढ़ाएंगे.चित्रकूट जेल में 300 गमलों के साथ एक-एक हजार कुर्ते और शर्ट तैयार किए जा रहे हैं. जो महाकुंभ में कारागार के स्टाल में इनको बिक्री के लिए रखा जाएगा.सब से खास बात यह है कि टी शर्ट और कुतों में संस्कृत लिखी गई है.यह काम चित्रकूट जेल के जेलर संतोष कुमार वर्मा करवा रहे हैं. बंदियों को भी पहनाए जाएंगे कुर्ता व टी शर्ट वही चित्रकूट जेल के जेलर संतोष कुमार वर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि संस्कृत के श्लोक और हिंदी की कविताएं लिखे कुतों और टी शर्ट को बंदियों को भी पहना जाएगा.जिससे वह जीवन के मूलभूत उद्देश्यों को समझ सकें और अपने जेल के जीवन से निराश न हो. जब वो जेल से बाहर जाए तो एक बेहतर नागरिक बनकर समाज में आत्मनिर्भर बनकर रोजगार करें.उनका कहना है कि यह टी शर्ट, गमले, शर्ट हमने जेल में भी तैयार करवाए है.और हमारे द्वारा उनको शर्ट टी शर्ट में प्रिंट करने को श्लोक लिखकर दिए गए है.जिसको यहां बंद बंदी खुद ही शार्ट टी शर्ट में प्रिंट कर रहे है.उनका कहना है कि महाकुंभ में चित्रकारी गमलों, टी शर्ट और कुतों की बिक्री से जो धन आएगा उसको बंदी कल्याण कारी कार्यों में खर्च किया जाएगा.